सीतामऊ/मंदसौर।
न्यायालय: माननीय अपर सत्र न्यायाधीश महोदय (श्रीमान मुनेन्द्र सिंह वर्मा), सीतामऊ द्वारा आरोपी तुफान पिता बापूलाल बागरी उम्र 24 साल, निवासी- बागरी खेड़ा, थाना सुवासरा, जिला-मंदसौर को प्रेमिका की गला दबाकर हत्या करने के मामले में दोषी पाते हुए धारा 302 भा.द.वि. में सश्रम आजीवन कारावास व 5000 रू. अर्थदण्ड से दण्डित किया। होटल मोती महल सुवासरा का सफाई कर्मी प्रेमचंद रोजाना की तरह सुबह 10 बजे होटल में साफ सफाई का काम कर रहा था तभी कमरा नंबर 108 से लड़ाई झगड़ा एवं चिल्ला चोट की आवाज आई एवं कुछ समय बाद कमरे में रूका एक व्यक्ति कमरे से निकलकर चला गया एवं जब वह कमरे में सफाई के लिए पहुंचा तो कमरे में एक महिला अचेत अवस्था में पड़ी थी जिसे आवाज लगाने पर नहीं सुनी तो उसने होटल मालिक को इसकी सूचना दी एवं उन्होंने कमरे में रूके उक्त व्यक्ति की तलाश की किंतु वह नहीं मिला तो इस संबंध में होटल मालिक ने थाना सुवासरा को सूचना दी कि उनकी होटल के कमरा नंबर 108 में एक महिला अचेत अवस्था में पड़ी है। उक्त सूचना पर से उपनिरीक्षक शिवांशु मालवीय मौके पर पहुंचे जहां पर कमरा नंबर 108 में एक महिला पलंग पर चित मृत अवस्था में पड़ी हुई थी। मौके पर सूचनाकर्ता प्रेमचंद की सूचना पर देहाती नालसी मर्ग क्रमांक 0/2023 धारा 174 दंड प्रक्रिया संहिता लेख की गयी तथा मौके पर से मश्रुका जप्त कर पी.एम. कार्यवाही करवायी गयी। जांच के दौरान सूचनाकर्ता प्रेमचंद, गोपाल बागरी एवं मृतिका के भाई भारत से पूछताछ करने पर ज्ञात हुआ कि मृतिका 9 माह पूर्व अपने पति को छोड़कर अभियुक्त तूफान के साथ भाग गयी थी एवं दोनों सीकर राजस्थान में पति पत्नी की तरह रह रहे थे। मृतिका के परिजनों द्वारा ममता की गुमशुदगी दर्ज करायी गयी थी जिसके संबंध में अभियुक्त तुफान ममता के कथन कराने हेतु दिनांक 08.03.2023 को सुवासरा आया था एवं होटल मोती महल में कमरा लेकर रूका था, तथा दिनांक 09.03.2023 को पुलिस होली होने से कथन लेखबद्ध नहीं हो पाये। दिनांक 10.03.2023 को ममता एवं अभियुक्त तुफान के होटल के कमरे में विवाद होने के कारण अभियुक्त तुफान ने ममता की गला दबाकर हत्या कर दी। और अभियुक्त तूफान कमरा छोड़कर बाहर चला गया। मृतिका की पी.एम. रिपोर्ट में डॉक्टर ने मृतिका की मृत्यु का कारण दला दबाकर दम घुटने से होना लेख किया। पी.एम. रिपोर्ट, साक्षीगण के कथन तथा मौके पर से जप्त मश्रुका परिस्थितिजन्य साक्ष्य के आधार पर मृतिका ममता की अभियुक्त तूफान द्वारा गला दबाकर हत्या की जाना पाया। जिससे अभियुक्त के विरूद्ध धारा 302 भादवि का मामला थाना सुवासरा पर अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया अनुसंधान पूर्ण कर अभियोग पत्र न्यायालय में प्रस्तुत किया गया। प्रकरण में अनुसंधान की संपूर्ण कार्यवाही थाना प्रभारी शिवांशु मालवीय द्वारा की गई एवं अनुसंधान में सहयोग उपनिरीक्षक विकास गेहलोत, सहायक उप निरीक्षक लक्ष्मणसिंह, प्रधान आरक्षक मनीष लबाना, प्रधान आरक्षक दिलीप नागर, आरक्षक मोकम सिंह, आरक्षक मनीष पाटीदार, आरक्षक जुगल किशोर एवं आरक्षक गोविंद सिंह द्वारा किया गया। माननीय अपर सत्र न्यायाधीश महोदय (श्रीमान मुनेन्द्र सिंह वर्मा), सीतामऊ द्वारा अभियोजन की ओर से प्रस्तुत तथ्यों एवं तर्कों के आधार पर आरोपी तुफान पिता बापूलाल बागरी उम्र 24 साल, निवासी- बागरी खेड़ा, थाना सुवासरा, जिला-मंदसौर को प्रेमिका की गला दबाकर हत्या करने के मामले में दोषी पाते हुए धारा 302 भा.द.वि. में सश्रम आजीवन कारावास व 5000 रू. अर्थदण्ड से दण्डित किया।प्रकरण में अभियोजन का सफल संचालन अपर लोक अभियोजक विजय कुमार पाटीदार (गरोठ- सीतामऊ) एवं ए.डी.पी.ओ. एस. आर. गरवाल द्वारा किया गया।
न्यायालय: माननीय अपर सत्र न्यायाधीश महोदय (श्रीमान मुनेन्द्र सिंह वर्मा), सीतामऊ द्वारा आरोपी तुफान पिता बापूलाल बागरी उम्र 24 साल, निवासी- बागरी खेड़ा, थाना सुवासरा, जिला-मंदसौर को प्रेमिका की गला दबाकर हत्या करने के मामले में दोषी पाते हुए धारा 302 भा.द.वि. में सश्रम आजीवन कारावास व 5000 रू. अर्थदण्ड से दण्डित किया। होटल मोती महल सुवासरा का सफाई कर्मी प्रेमचंद रोजाना की तरह सुबह 10 बजे होटल में साफ सफाई का काम कर रहा था तभी कमरा नंबर 108 से लड़ाई झगड़ा एवं चिल्ला चोट की आवाज आई एवं कुछ समय बाद कमरे में रूका एक व्यक्ति कमरे से निकलकर चला गया एवं जब वह कमरे में सफाई के लिए पहुंचा तो कमरे में एक महिला अचेत अवस्था में पड़ी थी जिसे आवाज लगाने पर नहीं सुनी तो उसने होटल मालिक को इसकी सूचना दी एवं उन्होंने कमरे में रूके उक्त व्यक्ति की तलाश की किंतु वह नहीं मिला तो इस संबंध में होटल मालिक ने थाना सुवासरा को सूचना दी कि उनकी होटल के कमरा नंबर 108 में एक महिला अचेत अवस्था में पड़ी है। उक्त सूचना पर से उपनिरीक्षक शिवांशु मालवीय मौके पर पहुंचे जहां पर कमरा नंबर 108 में एक महिला पलंग पर चित मृत अवस्था में पड़ी हुई थी। मौके पर सूचनाकर्ता प्रेमचंद की सूचना पर देहाती नालसी मर्ग क्रमांक 0/2023 धारा 174 दंड प्रक्रिया संहिता लेख की गयी तथा मौके पर से मश्रुका जप्त कर पी.एम. कार्यवाही करवायी गयी। जांच के दौरान सूचनाकर्ता प्रेमचंद, गोपाल बागरी एवं मृतिका के भाई भारत से पूछताछ करने पर ज्ञात हुआ कि मृतिका 9 माह पूर्व अपने पति को छोड़कर अभियुक्त तूफान के साथ भाग गयी थी एवं दोनों सीकर राजस्थान में पति पत्नी की तरह रह रहे थे। मृतिका के परिजनों द्वारा ममता की गुमशुदगी दर्ज करायी गयी थी जिसके संबंध में अभियुक्त तुफान ममता के कथन कराने हेतु दिनांक 08.03.2023 को सुवासरा आया था एवं होटल मोती महल में कमरा लेकर रूका था, तथा दिनांक 09.03.2023 को पुलिस होली होने से कथन लेखबद्ध नहीं हो पाये। दिनांक 10.03.2023 को ममता एवं अभियुक्त तुफान के होटल के कमरे में विवाद होने के कारण अभियुक्त तुफान ने ममता की गला दबाकर हत्या कर दी। और अभियुक्त तूफान कमरा छोड़कर बाहर चला गया। मृतिका की पी.एम. रिपोर्ट में डॉक्टर ने मृतिका की मृत्यु का कारण दला दबाकर दम घुटने से होना लेख किया। पी.एम. रिपोर्ट, साक्षीगण के कथन तथा मौके पर से जप्त मश्रुका परिस्थितिजन्य साक्ष्य के आधार पर मृतिका ममता की अभियुक्त तूफान द्वारा गला दबाकर हत्या की जाना पाया। जिससे अभियुक्त के विरूद्ध धारा 302 भादवि का मामला थाना सुवासरा पर अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया अनुसंधान पूर्ण कर अभियोग पत्र न्यायालय में प्रस्तुत किया गया। प्रकरण में अनुसंधान की संपूर्ण कार्यवाही थाना प्रभारी शिवांशु मालवीय द्वारा की गई एवं अनुसंधान में सहयोग उपनिरीक्षक विकास गेहलोत, सहायक उप निरीक्षक लक्ष्मणसिंह, प्रधान आरक्षक मनीष लबाना, प्रधान आरक्षक दिलीप नागर, आरक्षक मोकम सिंह, आरक्षक मनीष पाटीदार, आरक्षक जुगल किशोर एवं आरक्षक गोविंद सिंह द्वारा किया गया। माननीय अपर सत्र न्यायाधीश महोदय (श्रीमान मुनेन्द्र सिंह वर्मा), सीतामऊ द्वारा अभियोजन की ओर से प्रस्तुत तथ्यों एवं तर्कों के आधार पर आरोपी तुफान पिता बापूलाल बागरी उम्र 24 साल, निवासी- बागरी खेड़ा, थाना सुवासरा, जिला-मंदसौर को प्रेमिका की गला दबाकर हत्या करने के मामले में दोषी पाते हुए धारा 302 भा.द.वि. में सश्रम आजीवन कारावास व 5000 रू. अर्थदण्ड से दण्डित किया।प्रकरण में अभियोजन का सफल संचालन अपर लोक अभियोजक विजय कुमार पाटीदार (गरोठ- सीतामऊ) एवं ए.डी.पी.ओ. एस. आर. गरवाल द्वारा किया गया।

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